अजीत डोभाल का जीवन परिचय, Ajit Doval Biography in Hindi

Ajit Doval Biography in Hindi अजीत कुमार डोभाल एक सेवानिवृत्त आईपीएस अधिकारी है. यू तो कई ऐसे आईपीएस अधिकारी है, जो अपनी पूरी सेवाएँ देने के बाद सेवानिवृत्त हो गए, पर अजित जी का नाम आज भी भारत के सुरक्षा मुद्दो पर अग्रणीय है. अजित डोवाल वर्तमान में भारत के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार हैं, वे 30 मई 2014 से इस पद पर हैं। डोभाल भारत के पांचवे राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार हैं. भारत ने गत कुछ वर्षों में अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर अपनी छवि काफी मजबूत की हैं, विकासशील देश से एक कदम आगे बढकर अब भारत को एक सशक्त राष्ट्र में माना जाता हैं. इसके पीछे भारत सरकार और इनसे जुड़े सभी अधिकारियों का योगदान हैं.

Ajit Doval Biography in Hindi

अजीत डोभाल का जीवन परिचय, Ajit Doval Biography in Hindi

अजीत डोभाल का जीवन परिचय:-

अजीत जी का जन्म साल 1945 में हुआ था. इनका जन्म उत्तराखंड के पौड़ी गढ़वाल नामक जगह पर एक गढ़वाल परिवार में हुआ था. इन्होने इनकी शुरुआती शिक्षा अजमेर के मिलिट्री स्कूल से पूरी की और फिर इसके बाद इन्होने आगरा विश्व विद्यालय से अर्थशास्त्र में एमए कर स्नाकोत्तर की उपाधी ली और फिर आईपीएस की तैयारी में जुट गए. दिसंबर 2017 में आगरा विश्वविद्यालय से उन्हें विज्ञान और साहित्य में रणनीतिक और सुरक्षा मामलों में उनके योगदान के लिए एक मानद डॉक्टरेट की उपाधि दी, और मई 2018 में कुमाऊं विश्वविद्यालय ने मानद डॉक्टरेट की उपाधि दी।और 1968 में वो केरल कैडर से आईपीएस ऑफिसर बने थे.

अजीत डोभाल का करियर :-

डोभाल जी का कैरियर शुरू तो एक आईपीएस अधिकारी के रूप में हुआ, यहां पर इन्होने अपना बेहतरीन प्रदर्शन देते हुये आज ये 73 वर्ष की आयु में देश के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार के रूप में कार्यरत है. उन्होंने मिजोरम और पंजाब में उग्रवाद विरोधी अभियानों में काफी सक्रिय रूप से काम किया था। डोभाल उन तीन वार्ताकारों में से एक थे जिन्होंने 1999 में कंधार में आईसी -814 से यात्रियों की रिहाई के लिए बातचीत की थी।

Ajit Doval Biography in Hindi

  • अजीत डोभाल ने अपनी शुरुआती कमान केरल कैडर में 1968 में संभाली.
  • 1972 में अजित जी इंटेलिजेंस ब्यूरो से जुड़े थे,जहां उन्होंने 3 दशक बिताये. इस दौरान उन्होंने बहुत से सफल ऑपरेशन किये, इनमें नार्थ-ईस्ट,जम्मू और कश्मीर और यूके के ओपरेशन मुख्य हैं|
  • साल 1999 में कंधार में आईसी-814 में यात्रियों के अपहरण के मुद्दे पर अजीत जी उन 3 अधिकारियों में से एक थे.
  • एक दशक से भी अधिक समय तक आईबी के संचालन विंग का नेतृत्व करने का अनुभव प्राप्त है.
  • आतंक निरोधी कार्यो के लिए भारत के तीसरे राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार एम के नारायणन के द्वारा ट्रेनिंग भी प्राप्त की हुई है.
  • मिज़ो नेशनल आर्मी के साथ बर्मा और चीन की सीमा के अंदर एक बहुत लंबा समय बिताया.
  • 7 साल तक पाकिस्तान में अपना धर्म बदलकर गुजारा
  • आदित्य पौडवाल का जीवन परिचय
  • 2005 में जनवरी के महीने में इंटेलेजेंसी ब्यूरो के डाइरेक्टर के पद से सेवानिवृत्त हुये|
  • अजीत डोभाल हमेश ही भारत में राष्ट्रीय सुरक्षा पर प्रवचन में सक्रिय रूप से शामिल रहे|
  • उन 46 भारतीय नर्सों की रिहाई में महवपूर्ण भूमिका निभाई, जो इराक में फसी हुई थी |
  • साल 2009 और 2011 में उन्होंने “Indian Black Money Abroad In Secret Banks and Tax Havens” पर दो रिपोर्ट को लिखा|
  • अजित डोभाल को लन्दन के हाई कमिशन में मिनिस्टर के तौर पर नियुक्त किया गया था|
  • साल 2016 में हुई सर्जिकल स्ट्राइक में अजीत जी कि भूमिका को भी अहम माना जाता है|
  • सेना प्रमुख जनरल दलबीर सिंह सुहाग के साथ, डोभाल ने म्यांमार से बाहर चल रहे आतंकवादियों के खिलाफ एक सैन्य अभियान की योजना बनाई।
  • पाकिस्तान की और से की जाने वाली कार्यवाही के लिए भी हिंदुस्तान की सेना को तैयार रखने की ज़िम्मेदारी मिली |
  • 2018 में, उन्हें रणनीतिक नीति समूह (एसपीजी) के अध्यक्ष के रूप में नियुक्त किया गया था|

पुरस्कार और सम्मान :-

  • अजित डोभाल को आइपीएस की सर्विस जॉइन के बाद मात्र 6 महीनों में ही पुलिस मैडल मिला था. डोभाल उस वक्त सबसे कम उम्र के ऑफिसर थे जिन्हें ये सम्मान मिला था,क्योंकि सामान्यत: ये सम्मान लगभग 1 या आधा दशक बिताने के बाद मिलता हैं.
  • इसके बाद उन्हें राष्ट्रपति पुलिस पदक से सम्मानित किया गया.
  • साल 1988 में अजीत जी ने दूसरे सबसे बड़े सर्वोच्च वीरता पुरस्कार कीर्ति चक्र भी प्राप्त किया है.

रिटायरमेंट के बाद डोभाल का जीवन:-

2005 में इंटेलिजेंस ब्यूरो के डायरेक्टर पद से रिटायर होने के बाद भी वो भारत की सुरक्षा सम्बन्धित मामलों में एक्टिव रहे, उन्होंने कुछ प्रसिद्ध न्यूज पेपर्स और जर्नल्स के लिए लिखने के अलावा सरकारी और गैर-सरकारी संस्थाओं में भारत की सुरक्षा सम्बन्धित मुद्दों पर लेक्चर्स भी दिए.

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अजीत डोभाल क्यों प्रसिद्ध है?

भारत के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार हैं


अजीत डोभाल कौन सी जाती है?

ब्राम्हण

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उस रिपोर्ट के मुताबिक अजीत डोभाल की प्रतिमाह सैलरी 1,62,500 रुपए बताई गई थी

अजीत डोभाल पाकिस्तान कैसे गए थे?

खूफिया एजेंट के रूप में पाकिस्तान में 7 साल बिताए

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